कोरोनावायरस महामारी के कारण राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन ने प्लाइवुड, पैनल और डेकोरेटिव लैमिनेट उद्योग को भारी नुकसान पहुंचाया है। इसके कारण, सभी उद्योग का काम काज पूरी तरह से बंद हो गए। सरकार ने नागरिकों से तत्काल प्रभाव से घर पर रहने की अपील की\ क्योंकि इस स्थिति में जीवन सर्वोच्च प्राथमिकता रह गई है। प्लाइवुड, एमडीएफ, पार्टिकल बोर्ड और लेमिनेट के कारखानों में मैन्यूफैक्चरिंग बंद है और सरकारी अधिकारियों को आदेश दिया गया है कि वे जीवन बचाने के लिए पूर्ण लॉकडाउन सुनिश्चित करंे।
विभिन्न प्लाइवुड क्लस्टर के निर्माताओं ने कहा कि उनके पास अच्छी मात्रा में लकड़ी का स्टॉक और रेजिन है, जो एक सप्ताह के भीतर प्रोसेस हीं होने पर खराब हो जाएगा। हरियाणा, उत्तर प्रदेश, केरल, पंजाब, गुजरात, उत्तराखंड, आदि में लोगों ने राज्य के अधिकारियों से अनुरोध किया है और 2-3 दिनों के लिए अपने संयंत्र चलाने की अनुमति मांगी है, जिसमें वे अपने लकड़ी के स्टॉक का उपयोग कर सकते हैं। हरियाणा प्लाइवुड मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन ने राज्य सरकार के अधिकारियों को एक पत्र लिखा, जिसमें कहा गया कि चल रहे लॉकडाउन के कारण, कोर विनियर के लिए संग्रहित सफेदा और पोपलर के लॉग सूख रहे हैं, चूंकि इन लॉग की नमी खोने से दरारें हो जाती हैं और एक निश्चित समय के बाद ऐसे लॉग विनियर के लिए बेकार हो जाते हैं। ऐसे लकड़ी के खराब होने की आशंका से, इन लॉग को विनियर में बदलने की विशेष अनुमति दी जानी चाहिए। एचपीएमए के अध्यक्ष जे के बिहानी ने बताया कि कुछ प्लाइवुड इकाइयों को इन लकड़ियों के उपयोग की अनुमति मिल गई और 2-3 दिनों के लिए लॉग पीलिंग की अनुमति मिल सकती है।
इसी तरह की मांग विभिन्न राज्य मैन्यूफैक्चरिंग क्लस्टर द्वारा की गई थी। हालांकि कुछ राज्यों जैसे केरल और अन्य ने 2-3 दिनों के लिए अनुमति मिलने की सूचना दी है। ऑल केरल प्लाईवुड एंड बोर्ड्स एसोसिएशन के अध्यक्ष मुजीब रहमान ने पुष्टि की कि केरल स्थित प्लाइवुड इकाइयों को अपने लकड़ी के स्टॉक और रेजिन का उपयोग करने के लिए 2 दिनों की अनुमति मिली थी। डेकोरेटिव लैमिनेट,एमडीएफ और पार्टिकल बोर्ड के उद्योगों को भी रेजिन स्टॉक के कारण भारी नुकसान होने की सूचना मिली, जिसका वे उपयोग नहीं कर सके।